Vitamin B12 Deficiencyदिल और दिमाग के लिए है बेहद जरूरी, जानें इसकी कमी के लक्षण और उपाय
विटामिन बी12 एक आवश्यक पोषक तत्व है जो हमारे शरीर के कई महत्वपूर्ण कार्यों के लिए जरूरी है. विटामिन बी12 को कोबालमीन भी कहा जाता है यह लाल रक्त कोशिकाओं के उत्पादन, तंत्रिका तंत्र के स्वास्थ्य और DNA के निर्माण में मदद करता है विटामिन बी12 एक पानी में घुलनशील विटामिन है जो हमारे शरीर के लिए अति आवश्यक है आपको बतादे कि. शरीर खुद विटामिन बी12 का उत्पादन नहीं कर सकता है, इसलिए हमें इसे आहार के जरिए प्राप्त करना होता है.भारत में 70 प्रतिशत लोग विटामिन बी 12 की कमी से जूझ रहे है
विटामिन बी12 की कमी एक आम समस्या है, खासकर वृद्ध लोगों में. विटामिन बी12 की कमी के लक्षण अक्सर अनदेखे रह जाते हैं, लेकिन अगर इसे नजरअंदाज किया जाए तो यह गंभीर स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकता है.विटामिन बी 12 की कमी के कारण और इसका इलाज क्या क्या है ,B12 का नॉर्मल लेवल ?जाने इस लेख मे सबकुछ
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विटामिन बी12 की कमी क्या है?
विटामिन बी12 की कमी होने पर शरीर सामान्य से कम मात्रा में विटामिन बी12 का उत्पादन करता है। विटामिन बी12 लाल रक्त कोशिकाओं (आरबीसी) के निर्माण के लिए आवश्यक है और इसकी कमी से स्वस्थ लाल रक्त कोशिकाओं की कमी हो जाती है, RBc का काम जो पूरे शरीर में ऑक्सीजन को ले जाना है RBc की कमी होने से , ऊतकों और अंगों को पर्याप्त ऑक्सीजन नहीं मिल पाती । जिसके कारण शरीर ठीक से काम नहीं कर पाता है। अगर इसका इलाज नहीं किया गया तो इसका यह गंभीर स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकता है.
विटामिन बी12 की कमी के 7 खतरनाक लक्षण:
थकान और कमजोरीविटामिन बी12 की कमी के सबसे आम लक्षणों में से एक थकान और कमजोरी है. विटामिन बी12 लाल रक्त कोशिकाओं के उत्पादन में मदद करता है, जो ऑक्सीजन को पूरे शरीर में ले जाती हैं. विटामिन बी12 की कमी से लाल रक्त कोशिकाओं की संख्या कम हो सकती है, जिससे शरीर को पर्याप्त ऑक्सीजन नहीं मिल पाता है. जिस वजा से पूरे शरीर मे दिनभर आलस, थकान महसूस होती है
दिमागी क्षमता पर असर– विटामिन बी12 मस्तिष्क के स्वास्थ्य के लिए भी जरूरी है. विटामिन बी12 की कमी से याददाश्त, ध्यान और सोचने की क्षमता में गिरावट आ सकती है.
झुनझुनी और सून्नपन -विटामिन बी12 की कमी से तंत्रिका तंत्र को नुकसान पहुंच सकता है, जिससे हाथ पेरो मे झुनझुनी और सून्नपन हो सकता है. अगर विटामिन बी 12 की ज्यादा कमी हो गई है तो हाथ-पैर की नसें डैमेज होने लगेगी. जिस वजा से पेरिफेरल न्यूरोपैथी बीमारी हो सकती है.
देखने में दिक्कत-विटामिन बी12 की कमी से ऑप्टिक नर्व को नुकसान पहुंच सकता है, जिससे देखने में दिक्कत हो सकती है जिससे ऑप्टिक न्यूरोपैथी की बीमारी हो सकती है जिससे धुंधला दिखाई देने लगेगा.
मुंह में छाले-अक्सर लोगो के मुह मे छाले हो जाते है जिसका प्रमुख कारण विटामिन बी12 की कमी से है जीभ और मुंह के अंदर छाले हो जाना B12 की कमी के कारण होता है
चलने में दिक्कत-अगर आपको थोड़ा सा चलने मे भी दिक्कत होती है है जरा देर चले नई के थक जाते है इसका मतलब हो सकता है कि आपको
विटामिन बी12 की कमी हो क्योकि बी 12 की कमी से से पैरों की मांसपेशियों में कमजोरी और सुन्नता हो सकती है, जिससे चलने में दिक्कत हो सकती है.
स्किन का रंग मटमैला होना-कई बार विटामिन बी12 की कमी का पता आप स्कीन के colour से भी लगा सकते है बी 12 की कमी होने पर स्किन का रंग मटमैला हो सकता है और इसकी कमी से पीलिया भी हो सकता है
विटामिन बी12 की कमी का परीक्षण-विटामिन बी12 की कमी का पता लगाने के लिए रक्त परीक्षण किया जाता है. इस परीक्षण में विटामिन बी12 के स्तर की जांच की जाती है.
विटामिन बी12 की कमी का इलाज
विटामिन बी12 की कमी का इलाज विटामिन बी12 की खुराक से किया जा सकता है. विटामिन बी12 की खुराक इंजेक्शन, टैबलेट या कैप्सूल के रूप में ली जा सकती है.
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क्या है विटामिन B12 का नॉर्मल लेवल ?
यदि जाच मे विटामिन बी 12 का लेवल 300pg/mL से ऊपर है इसका मतलब आपके शरीर मे बी 12 का लेबल नॉर्मल है. यह बी 12 का लेवल 200pg/mL से कम है तो इसका मतलब बी 12 की कमी है. और जब विटामिन बी 12 का लेवल लगातार कम होता जाता है तो इसे विटामिन बी 12 की कमी के नाम से जाना जाता है. अगर समय पर इस समस्या का इलाज ना किया जाए तो इससे कई तरह की गंभीर समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है.
विटामिन बी 12 की कमी दूर करने के उपाय
1 मछली का सेवन-विटामिन बी-12 की कमी को दूर करने, मछली का सेवन कर सकते है क्योकि मछली में विटामिन बी-12 भरपूर मात्रा में पाया जाता है।
दूध, दही का सेवन
जो लोग नॉनवेजीटेरियन नहीं हैं और मछली नहीं खा सकते, वे दूध, दही का नियमित सेवन करके इसकी मात्रा को पूरा कर सकते हैं। आपको बता दे कि कप दही में 29 % विटामिन बी-12 पाया जाता है। इसके अलावा दूध से कैल्शियम, प्रोटीन भी शरीर को मिलता है।
विटामिन बी 12 डेफिशिएंसी को दूर करने ले लिए सोया दूध का सेवन
जो लोग वीगन होते है उनके लिए बेस्ट है सोया मिल्क एक कप सोया मिल्क या बादाम के दूध में 2.1 एमसीजी विटामिन बी12 होता है। इसके अलावा दलिया, ओट्स सहित अन्य साबुत अनाजों में भी विटामिन बी 12 के पाया जाता है
विटामिन बी 12 डेफिशिएंसी को दूर करने के लिए अंडा
अंडे में भी भरपूर मात्रा में विटामिन बी-12 पाया जाता है। जो भी लोग इन चीज़ों का नियमिनत सेवन करते हैं उन्हें विटामिन बी-12 की समस्या का शिकार नहीं होना पड़ेगा.
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